Vishnu Deo: आज पखांजूर जाएंगे मुख्यमंत्री: कैबिनेट की बैठक बाद होंगे रवाना, जानिये.. क्‍या है कार्यक्रम

Vishnu Deo: आज पखांजूर जाएंगे मुख्यमंत्री: कैबिनेट की बैठक बाद होंगे रवाना, जानिये.. क्‍या है कार्यक्रम

Vishnu Deo: रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय 11 दिसम्बर को नवा रायपुर में केबिनेट की बैठक के बाद वहां से हेलीकॉप्टर से पखांजूर जाएंगे। मुख्यमंत्री पखांजूर के पुराना बस स्टैण्ड एवं नेता जी सुभाषचंद्र बोस स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में शामिल होंगे।

जारी कार्यक्रम के अनुसार मुख्यमंत्री साय पूर्वान्ह 11 बजे से मंत्रालय, महानदी भवन में केबिनेट की बैठक में भाग लेने के बाद दोपहर 2 बजे पुलिस मुख्यालय हेलीपेड नवा रायपुर से हेलीकॉप्टर से पखांजूर जाएंगे। मुख्यमंत्री वहां की पुराना बस स्टैण्ड स्वर्गीय असीम राय जी की प्रतिमा का अनावरण करने के बाद नेताजी सुभाषचंद्र बोस स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में विकास कार्यो का लोकार्पण एवं शिलान्यास और आम सभा को संबोधित करेंगे। मुख्यमंत्री पखांजूर से संध्या 5 बजे रायपुर लौट आएंगे। मुख्यमंत्री साय शाम 5 बजे रायपुर के भाटागांव अंतर्राज्जीय बस टर्मिनल में नवनिर्मित को-वर्किंग स्पेस आरंभ एवं इनोवेशन सेंटर इनोवेट का लोकार्पण करेंगे।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने गीता जयंती की दी शुभकामनाएं

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने प्रदेशवासियों को गीता जयंती की बधाई और शुभकामनाएं दी हैं। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि महाभारत युद्ध की शुरुआत में मार्गशीर्ष मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी पर भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को भगवद्गीता का उपदेश दिया था। इस दिन गीता जयंती मनाई जाती है।

उन्होंने कहा कि श्रीमद्भगवद्गीता अनेक महापुरुषों के लिए दार्शनिक मार्गदर्शक और आध्यात्मिक शिक्षक रही है। गीता में भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को अपने कर्तव्य का निर्वहन करते हुए जीवन जीने की प्रेरणा दी है। गीता में जीवन की अनेक समस्याओं का समाधान मिलता है। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि गीता जयंती का पर्व भगवद्गीता के दिव्य संदेशों को आत्मसात करने का दिन है।

मुख्यमंत्री  विष्णु देव साय ने बाला साहब देवरस जी की जयंती पर उन्हें नमन किया

मुख्यमंत्री  विष्णु देव साय ने राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के तृतीय सरसंघचालक बाला साहब देवरस जी की जयंती पर उन्हें नमन किया। मुख्यमंत्री  साय ने कहा कि बाला साहब देवरस जी व्यवहार कुशल एवं नेतृत्व क्षमता के धनी थे। बालासाहब देवरस जी के विचार थे कि हम सभी के मन में सामाजिक विषमता के उन्मूलन का ध्येय अवश्य होना चाहिए। हमें लोगों के सामने यह बात स्पष्ट रूप से रखनी चाहिए कि विषमता के कारण हमारे समाज में किस प्रकार दुर्बलता आई और उसका विघटन हुआ। उसे दूर करने के उपाय बताने चाहिए तथा इस प्रयास में प्रत्येक व्यक्ति को अपना योगदान देना चाहिए। बाला साहब देवरस जी ने कहा था कि हम सभी को आत्मनिरीक्षण की आवश्यकता है. यह समय है कि हम हर प्रकार की नकारात्मकता छोड़ एक नए मार्ग का निर्माण करें।

मुख्यमंत्री  साय ने कहा कि सन् 1975 में भारत की तत्कालीन प्रधानमंत्री ने आपातकाल की घोषणा कर मीसा जैसे काले कानून के अन्तर्गत अनेक लोगों को जेल में डाल दिया। बाला साहब देवरस जी की प्रेरणा एवं सफल मार्गदर्शन में विशाल सत्याग्रह हुआ और 1977 में आपातकाल समाप्त हुआ। बाला साहब देवरस जी के द्वारा की गई निःस्वार्थ भाव से देश व मानवता की सेवा हम सभी को सदैव मानवसेवा की प्रेरणा देती है

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