CG Vidhansabha Budget Session 2025: केलो परियोजना में करोड़ों का खेला, गुपचुप तरीके से बदल दिया लैंड यूज, कृषि भूमि को बना दिया औद्योगिक…
CG Vidhansabha Budget Session 2025: रायपुर। छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में निर्माणाधीन केलो परियोजना में राजस्व अफसरों ने करोड़ों का खेला कर दिया है। भूअर्जन के नाम पर सरकारी खजाने को जमकर लूटा है। लैंड यूज के मामले को लेकर बुधवार को सदन गरमाया रहा। कृषि भूमि का लैंड यूज गुपचुप तरीके से बदल दिया गया है। कृषि भूमि को राजस्व रिकार्ड में औद्योगिक भूमि दर्ज कर भू अर्जन के नाम पर करोड़ों रुपये का नुकसान सरकारी खजाने को अफसरों ने पहुंचाया है। सदन में यह मामला उठते ही राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा को जवाब देते नहीं बना। विधायक उमेश पटेल के इस सवाल पर राजस्व मंत्री पूरे समय घिरे रहे।
लैंड यूज में बदलाव को लेकर सदन में जमकर बहस हुआ। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजस्व मंत्री ने सवाल पूछा कि बगैर आपकी जानकारी के यह सब कैसे हो गया। राजस्व मंत्री और मंत्रिमंडलीय उप समिति की सहमति और अनुमोदन के बिना ही कैसे लैंड यूज बदल दिया गया है। यह तो अचरज की बात है। विधायक व पूर्व मंत्री उमेश पटेल ने राजस्व अफसरों के फर्जीवाड़े की पाेल खोलते हुए बताया कि अगस्त 2024 में जोरापानी गांव में 22 खसरों जो कि कृषि भूमि है, इसे लैंड यूज बदलते हुए जिंदल इंडस्ट्रीज के नाम पर ट्रांसफर कर दिया है।
कृषि भूमि को औद्योगिक भूमि के रूप में किन मापदंडों के तहत बदला गया है। लैंड यूज में जब बदलाव किया गया तब इसकी जानकारी राजस्व मंत्री को थी या नहीं। विधायक उमेश पटेल ने कहा कि लैंड यूज बदले जानकारी और दस्तावेज सामने आने के बाद हमने कलेक्टर रायगढ़ से इसकी शिकायत की थी। कलेक्टर ने अब तक कोई कार्रवाई नहीं की है। सदन में अपने आपको घिरते देख राजस्व मंत्री ने कहा कि इसकी जानकारी उसे नहीं है,मामले की जांच कराएंगे।
0 पूर्व सीएम ने पूछा, मंत्रिमंडलीय समिति की जांच अफसर कैसे करेंगे
राजस्व मंत्री के जवाब के बाद पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने पूछा कि मंत्रिमंडलीय समिति की जांच अफसर कैसे करेंगे। बघेल ने कहा कि मंत्रिमंडलीय उपसमिति के बिना कैसे लैंड यूज बदलेगा। मैं भी राजस्व मंत्री रहा हूं इसलिए मुझे पता है। पूर्व सीएम ने कहा कि गंभीर मामला है, मंत्री के विभाग की जांच अफसर कैसे करेंगे। जलाशय की भूमि को उद्योग को दे दिया और आपको पता ही नहीं चला।
पूर्व सीएम ने इस पूरे मामले की विधानसभा की समिति से जांच कराने की मांग की।
मंत्री के जवाब से नाराज कांग्रेस के विधायकों ने बहिर्गमन कर दिया।