Bilaspur High Court: जेल में कैदी की पिटाई: पैसे मांगने की भी शिकायत, छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने डीजी जेल से मांगा जवाब

Bilaspur High Court: जेल में कैदी की पिटाई: पैसे मांगने की भी शिकायत, छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने डीजी जेल से मांगा जवाब

Bilaspur High Court: बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर सेंट्रल जेल में अवैध गतिविधियों के अलावा अनियमितता और सारगंढ़ उपजेल में कैदियों की पिटाई,जेल कर्मियों द्वारा पैसे की मांग की शिकायत को छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने गंभीरता से लेते हुए पीआईएल के रूप में सुनवाई प्रारंभ की है। मामले की सुनवाई के बाद डिवीजन बेंच ने डीजी जेल को नोटिस जारी कर शपथ पत्र के साथ जवाब पेश करे का निर्देश दिया है। पीआईएल की अगली सुनवाई के लिए डिवीजन बेंच ने 15 जनवरी की तिथि तय कर दी है।

छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने प्रदेश के दो जेलों में चल रही अवैध गतिविधियों व जेल कर्मियों की मनमानी को लेकर मीडिया में प्रकाशित खबरों को स्वत: संज्ञान में लेते हुए जनहित याचिका के रूप में सुनवाई प्रारंभ की है। सारगंढ़ उप जेल में तो अपने आप में बड़ी घटना घटी,जब जेल कर्मियों ने जेल में बंद कैदियों से पैसे की उगाही करना शुरू कर दिया। पैसा ना देने पर मारपीट भी करने लगे। इसी तरह का एक मामला छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट में सारगंढ उप जेल में बंद कैदियों के परिजनों ने अपने अधिवक्ता के माध्यम से दायर किया है। याचिका में बताया है कि जेल में उनके परिजन बंद है। जेल कर्मियों द्वारा पैसे की मांग की जाती है, ना देने पर मारपीट के साथ ही प्रताड़ना दी जाती है। जेल कर्मियों को परिजनों ने फोन पे और अन्य वालेट के माध्यम से दिए आनलाइन ट्रांजेक्शन का हिसाब भी हाई कोर्ट के सामने रखा है। बीते सुनवाई के दौरान डिवीजन बेंच ने डीजी जेल को नोटिस जारी कर इस संबंध में जवाब मांगा था। डीजी जेल में मामले की जांच के लिए जांच टीम बनाने की जानकारी कोर्ट को दी थी।

कोर्ट ने शासन से पूछा, दोषी जेल कर्मियों के खिलाफ क्या कार्रवाई की गई

चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा व जस्टिस एके प्रसाद की डिवीजन बेंच में सुनवाई हुई। राज्य शासन की ओर से पैरवी के लिए उपस्थित उप महाधिवक्ता से डिवीजन बेंच ने पूछा कि दोषी जेल कर्मियों के खिलाफ राज्य शासन ने क्या कार्रवाई की है। इस पर उप महाधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि जांच के लिए गठित कमेटी द्वारा जांच की जा रही है। छह को शोकाज नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। विभागीय जांच जारी है। इस पर डिवीजन बेंच ने आरोपी जेल कर्मियों की जांच जल्द पूरा करने का निर्देश दिया है।

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